Sunday 5 February 2017

सिलसिला

कैसा अजनबी सा है ये सिलसिला वक़्त का,
सवालों के दायरे में हम आते नहीं हैं,
और जवाब का इंतजार करते-करते सारा जहाँ सो गया..!!

- प्रशांत

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